न्यूज़ डेस्क
कर्नाटक चुनाव प्रचार का आज अंतिम दिन है। कांग्रेस जहाँ 40 फीसदी कमीशन की सरकर बताकर बीजेपी को घेर रही है वही बीजेपी और जेडीएस ने मुस्लिम तुष्टिकरण की राजनीति पर कांग्रेस पर हमला किया है। जेडीएस नेता और कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री एच डी कुमारस्वामी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने मुस्लिम समुदाय को केवल वोट बैंक के रूप में इस्तेमाल किया और उनके कल्याण के लिए कोई भी ठोस कदम नहीं उठाया। पूर्व मुख्यमंत्री ने कृष्णापुरा में अपनी पार्टी के मेंगलुरु उत्तर के उम्मीदवार मोहिउद्दीन बावा के समर्थन में आयोजित एक चुनावी जनसभा के दौरान यह आरोप भी लगाया कि कांग्रेस कट्टर हिंदू नेताओं का पार्टी में स्वागत कर रही है जबकि जेडीएस पर बीजेपी के साथ साठगांठ का आरोप लगा रही है।
उन्होंने कहा कि दोनों राष्ट्रीय दल अपने राजनीतिक लाभ के लिए युवाओं का फायदा उठा रहे हैं। कुमारस्वामी ने कहा कि बीजेपी सरकार ने चुनावों के मद्देनजर बिल्लवा समुदाय के वोटों को ध्यान में रखते हुए ‘बिल्लवा विकास निगम’ गठित करने की घोषणा की है। उन्होंने उम्मीद जताई कि लोग, जेडीएस में विश्वास जताएंगे। जनसभा के दौरान पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष बी एम फारूक, बी ए मोहिउद्दीन बावा, अक्षित सुवर्णा और एम बी सदाशिव भी मौजूद थे। कुमार स्वामी के इस हमले से कांग्रेस तिलमिला गई है।
उधर प्रचार के अंतिम दिन केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि चार फीसदी मुसलिम आरक्षण हमारी पार्टी ने ही खत्म किया है क्योंकि वो गैर-संवैधानिक था। हमारे संविधान में धर्म के आधार पर आरक्षण का कोई प्रावधान नहीं है। कांग्रेस ने तुष्टीकरण की नीति के तहत ये मुस्लिम आरक्षण किया था, जिसको हमने हटा दिया है। उन्होंने कहा कि आरक्षण के भीतर आरक्षण हमने बहुत सोच समझकर किया है… हमने अनुसूचित जनजाति के आरक्षण के भीतर आरक्षण में हमने कुछ लिमिट तय किए हैं। इसे कांग्रेस हटाना चाहती है मगर मैं ये स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि एससी के आरक्षण के भीतर जो आरक्षण हैं, वो नहीं हटेगा।


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