न्यूज़ डेस्क
भारत सरकार 26 नवम्बर को संविधान दिवस मनाएगी। यह दिवस वैसे तो हर साल मनाया जाता है लेकिन इस बार खास तौर पर इस दिवस की तैयारी चल रही है।
पिछले कुछ सालों से लोकतंत्र और संविधान तरह के आंदोलन देश के भीतर देखने को मिले हैं। विपक्ष कहता है कि सरकार संविधान और लोकतंत्र को बर्बाद कर रही है। लेकिन सरकार कहती रही है कि विपक्ष को ही संविधान और लोकतंत्र में यकीन नहीं है। लेकिन देश की जनता अब इस मुद्दे पर चुप है। जनता को पता है कि सरकार या फिर विपक्ष क्या कुछ कर रहा है।
संविधान दिवस हर साल 26 नवंबर को भारत द्वारा संविधान को अंगीकार किए जाने के साथ इसके द्वारा समर्थित आदर्शों और सिद्धांतों को रेखांकित करने और हमारे संस्थापकों के योगदान के प्रति सम्मान और आभार प्रकट करने के लिए मनाया जाता है। संविधान दिवस मनाने के लिए भारत सरकार के संसदीय कार्य मंत्रालय ने सभी नागरिकों को संविधान क्विज और प्रस्तावना के ऑनलाइन वाचन में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया है। लोगों की अधिक से अधिक जनभागीदारी को सुनिश्चित करने के लिए मंत्रालय ने दो वेब पोर्टल चालू किये हैं।
22 आधिकारिक भाषाओं और अंग्रेजी में संविधान की प्रस्तावना का ऑनलाइन वाचन की व्यवस्था की गई है तो वहीं ‘भारत – लोकतंत्र की जननी’ विषय पर ऑनलाइन क्विज़ भी रखा गया है।ये पोर्टल हर किसी के लिए उपलब्ध हैं और कोई भी इसमें भाग ले सकता है और भागीदारी का प्रमाणपत्र प्राप्त कर सकता है। इस प्रकार तैयार किए गए प्रमाणपत्रों को हैशटैग संविधान दिवस का उपयोग करके सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट भी किया जा सकता है।