बीरेंद्र कुमार झा
लोकसभा के आचार समिति के अध्यक्ष और बीजेपी सांसद गेविनोद सोनकर ने गुरुवार को टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा पर गंभीर आरोप लगाया है।उन्होंने दावा किया कि महुआ मोइत्रा ने बैठक से बाहर निकलने से पहले उनकी और पैनल के लिए असंसदीय शब्दों का इस्तेमाल किया। महुआ मोइत्रा को पैसों के बदले संसद में सवाल पूछने की कथित मामले में अपना मौखिक बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया गया था। इस दौरान कमिटी में शामिल विपक्षी सदस्यों ने बैठक का बहिष्कार किया।समिति के अध्यक्ष विनोद कुमार सोनकर पर महुआ मोइत्रा से व्यक्तिगत तथा अनैतिक सवाल पूछने का आरोप लगाया।
महुआ मोइत्रा ने किया आपत्तिजनक शब्दों का इस्तेमाल
बीजेपी सांसद सोनकर ने विपक्षी सदस्यों से बाहर जाने के बाद भी बैठक जारी रखी और बाद में विपक्षी सदस्यों पर आरोप लगाया कि उन्होंने अनैतिक तरीके से व्यवहार किया और बैठक का बहिष्कार किया ताकि महुआ मोइत्रा के खिलाफ लगे आरोप से ध्यान भटकाया जा सके।बैठक के बाद संवाददातों से बातचीत में सोनकर ने आरोप लगाया कि समिति के कामकाज और उसके विरुद्ध आपत्तिजनक शब्दों का इस्तेमाल किया गया है।
विनोद सोनकर ने पत्रकारों से कहा कि समिति का मकसद महुआ मोइत्रा के अनैतिक आचरण के आरोपों की जांच करना था।सहयोग करने के बजाए महुआ मोइत्रा ने गुस्से में आकर पैनल और उसकी अध्यक्ष के खिलाफ अपशब्दों का इस्तेमाल किया।विपक्षी सांसदों जिनमें दानिश अली, गिरधारी यादव आदि शामिल है, उन्होंने अनैतिक रूप से और बहुत गुस्से में समिति के खिलाफ कुछ आरोप लगाए ।वे दर्शन हीरानंदानी के सवालों का जवाब देने से बचने के लिए पैनल की बैठक से बाहर चले गए।
संसदीय इतिहास का सबसे काला दिन
भारतीय जनता पार्टी के संसद सदस्य निशिकांत दुबे ने गुरुवार को विपक्षी सदस्यों के साथ एथिक्स कमिटी बैठक से बाहर निकलने के लिए टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा पर हमला बोला और इस घटना को इतिहास का सबसे काला दिन करार दिया।बीजेपी सांसद ने महुआ मोइत्रा पर गलत नेरेटिव सेट करने का आरोप लगाया है।
निशिकांत दुबे ने बैठक के बाद अपने आवास पर मीडिया को संबोधित करते हुए कहा कि देहाद्राई की शिकायत के बाद आचार समिति ने मेरी शिकायत पर विचार किया था मैं (जय अनंत) और देहाद्राई गवाह के रूप में वहां गए थे।महुआ मोइत्रा एक आरोपी है।कमिटी की अंदर क्या हुआ, इसको लेकर उन्होंने इंटरव्यू दिया।उन्होंने जनता के सामने गलत विमर्श बनाने की कोशिश की।यह हमारे संसद के इतिहास का सबसे खराब दिन है।
मोइत्रा से पूछताछ के लिए बाध्य है कमिटी
निशिकांत दुबे ने संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि समिति कारोबारी दर्शन हीरानंदानी द्वारा दायर हलफनामे पर महुआ मोइत्रा से पूछताछ करने के लिए बाध्य है।उन्होंने यह भी आरोप लगाया विपक्ष पक्ष से परेशान है कि समिति का नेतृत्व ओबीसी सदस्य कर रहा है
निशिकांत दुबे ने विपक्षी गठबंधन इंडिया पर निशाना साधते हुए कहा कि 2 जी स्पेक्ट्रम घोटाले के समय तत्कालीन अध्यक्ष मुरली मनोहर जोशी का भी कांग्रेस के द्वारा इसी तरह से अपमान किया गया था और अब एकबार महुआ मोइत्रा मामले में उसे फिर से दोहराया जा रहा है।दुबे ने कहा कि वे इस बात को पचा नहीं पा रहे हैं कि अनुसूचित जाति का एक व्यक्ति विनोद सोनकर आचार समिति का अध्यक्ष बन गया है और वे इनके खिलाफ अनावश्यक बयान दे रहे हैं।