विकास कुमार
महाराष्ट्र के खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री छगन भुजबल ने मराठा नेता मनोज जरांगे पाटिल पर जमकर हमला बोला है। अंबाड में आयोजित ओबीसी एल्गार परिषद की रैली में उन्होंने जरांगे की कड़ी आलोचना की है। उन्होंने कहा कि वे अपनी मेहनत का खाते हैं, तुम्हारी तरह सास के घर पर टुकड़े नहीं तोड़ता। उन्होंने कहा कि जब मंडल कमीशन ने आरक्षण दिया फिर भी कुछ लोग कोर्ट चले गए थे,तब सुप्रीम कोर्ट में नौ जज बैठे थे। इसमें पूर्व जस्टिस पीबी सावंत भी थे,लेकिन इस बार कोर्ट ने कहा कि ओबीसी का मुद्दा सही है और उन्हें आरक्षण दिया जाना चाहिए। भुजबल ने कहा कि तब दो सौ एक जातियों को ओबीसी में शामिल किया गया था।
वहीं मनोज जरांगे पाटिल ने भी भुजबल पर पलटवार किया है,जरांगे ने कहा कि भुजबल की भाषा निम्न स्तर की है और वह बूढ़े हो गए हैं। जरांगे ने आरोप लगाया कि भुजबल राज्य में माहौल खराब करना चाहते हैं। उन्होंने यह कहकर बात खत्म कर दी कि मराठा समाज अब भुजबलों को महत्व नहीं देता।
साफ है कि आरक्षण के नाम पर महाराष्ट्र की राजनीति में नया विवाद पैदा हो गया है। शिंदे सरकार को जल्द से जल्द इस समस्या का समाधान निकालना चाहिए क्योंकि मराठा और ओबीसी समाज में आरक्षण के मुद्दे पर लगातार तनाव बढ़ रहा है।