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केंद्र सरकार ने जेल में बंद अलगाववादी नेता मसर्रत आलम की अध्यक्षता वाले कश्मीरी अलगाववादी समूह मुस्लिम लीग पर बुधवार को पांच साल के लिए प्रतिबंध लगा दिया।केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने प्रतिबंध लगाने की घोषणा आज एक्स पर एक पोस्ट में की हैं।
उन्होंने कहा,“मुस्लिम लीग जम्मू-कश्मीर (मसरत आलम गुट) एमएलजेके-एमए को यूएपीए के तहत एक ‘गैरकानूनी संगठन’ घोषित किया गया है। यह संगठन और इसके सदस्य जम्मू-कश्मीर में राष्ट्र-विरोधी और अलगाववादी गतिविधियों में शामिल हैं। साथ ही ये आतंकवादी गतिविधियों का समर्थन करते हैं और लोगों को जम्मू-कश्मीर में इस्लामी शासन स्थापित करने के लिए उकसाते हैं।”
शाह ने कहा,“ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सरकार का संदेश स्पष्ट और साफ है कि हमारे राष्ट्र की एकता, संप्रभुता और अखंडता के खिलाफ काम करने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा तथा उसे कानून के पूर्ण प्रकोप का सामना करना पड़ेगा।”
बता दें कि मुस्लिम लीग का नेतृत्व हुर्रियत कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष मसर्रत आलम कर रहे हैं जो 2019 से दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद हैं।गौरतलब है कि वर्ष 2021 में शीर्ष अलगाववादी नेता सैयद अली गिलानी की मृत्यु के बाद, भट को कट्टरपंथी ऑल पार्टीज हुर्रियत कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष के रूप में नियुक्त किया गया था।