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जंतर मंतर पर बैठी खिलाडियों की याचिका पर आज सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान सॉलिसिटर जेनरल तुषार मेहता ने कहा है कि हमने तय कर लिया है कि आज ही बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया जाएगा। इसके बाद कहा जा रहा है कि महिला खिलाडियों को इससे राहत मिल सकती है। बता दें कि काफी समय से देश की शीर्ष महिला खिलाडी बृजभूषण शरण सिंह पर कथित यौन शोषण के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग कर रही थी। लेकिन सरकार कुछ नहीं कर रही थी। मामला जब सुप्रीम कोर्ट पहुंचा तब आज एफआईआर दर्ज करने की बात सामने आई है।
पहलवानों की तरफ से पेश हुए वकील कपिल सिब्बल ने सुरक्षा की मांग की। जांच के लिए एसटीएफ के गठन का भी अनुरोध किया। इसपर सॉलिसीटर जनरल ने कहा कि यह विषय दिल्ली पुलिस कमिश्नर पर छोड़ देना चाहिए। सिब्बल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के पूर्व जज की निगरानी में जांच होनी चाहिए। इसपर तुषार मेहता ने कहा कि अब यह मांग कुछ अधिक है। पुलिस कमिश्नर ज़िम्मेदार अधिकारी हैं।
इसके बाद सीजेआई डीवाई चंद्रचूड़ ने कहा कि सॉलिसिटर जनरल हम आपका वक्तव्य रिकॉर्ड कर लेते हैं। एक हफ्ते बाद हमें आगे की जानकारी दी जाए। सॉलिसिटर जनरल ने इसपर कहा कि यह उचित नहीं है। हर मामले में सीधे कोर्ट की या पूर्व जज की निगरानी की मांग की जाती है। शायद खिलाड़ी खुद नहीं जानते कि उनके नाम पर कुछ और भी चल रहा है।
चीफ जस्टिस ने कहा कि दिल्ली पुलिस ने एफआईआर दर्ज करने की बात कही है। हम अभी जांच के लिए एसटीएफ बनाने पर कुछ नहीं कह रहे हैं। उन्होंने कहा कि नाबालिग खिलाड़ी पर खतरे की समीक्षा कर पुलिस कमिश्नर उसे सुरक्षा दें। बाकी खिलाड़ियों की सुरक्षा की भी समीक्षा हो। अगले शुक्रवार को मामला दोबारा सुनवाई के लिए लगाया जाएगा।
बता दें कि पहलवानों का आरोप है कि भारतीय कुश्ती महासंघके अध्यक्ष और बीजेपी सांसद बृजभूषण शरण ने यौन उत्पीड़न किया है। बजरंग पूनिया और विनेश फोगाट सहित देश के कई पहलवान रविवार से दिल्ली के जंतर मंतर में विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने पिछले दिनों पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी, हालांकि एफआईआर दर्ज नहीं हुई। इसके बाद प्रदर्शनकारी पहलवानों ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की है।