न्यूज़ डेस्क
चुनाव से पहले बॉक्सर विजेंदर सिंह ने अचानक पाला बदल लिया। वे कांग्रेस में थे और कांग्रेस उन्हें इस बार मथुरा से बीजेपी सांसद हेमा मालिनी के खिलाफ मैदान में उतारने की तैयारी कर रही थी। लेकिन इसी बीच बॉक्सर सिंह का मिजाज बदल गया। उन्होंने पाला बदलते हुए अचानक बीजेपी के दफ्तर में पहुंचकर बीजेपी के साथ हो लिए।
हालांकि विजेंदर सिंह कोई पहले ऐसे युवा नेता नहीं है जिन्होंने पाला बदलने का काम किया है। कांग्रेस से लगातार बहुत से नेता बाहर निकल रहे हैं। कह सकते हैं कि किसी भी पार्टी से सबसे ज्यादा नेता अभी दलबदल कर रहे हैं तो उसमे कांग्रेस सबसे ऊपर है। विजेंदर सिंह को कांग्रेस ने 2019 के लोकसभा चुनाव में दक्षिणी दिल्ली सीट से उम्मीदवार बनाया था। इस चुनाव में उन्हें बीजेपी के रमेश बिधूड़ी के सामने हार का सामना करना पड़ा..लेकिन वे हार गए।
बीजेपी में शामिल होने के बाद विजेंदर सिंह ने कहा, ‘साल 2019 में मैंने कांग्रेस की ओर से चुनाव लड़ा था, लेकिन मैं चाहता हूं कि देश के विकास और तरक्की के लिए काम करूँ। लोगों का भला करने के लिए मैं बीजेपी से जुड़ा हूं।
देश के खिलाड़ी मोदी सरकार से नाराज चल रहे हैं। इसको लेकर जंतर-मंतर पर काफी लंबे समय तक प्रदर्शन चलता रहा। अब एक खिलाड़ी होने के नाते विजेंदर सिंह क्या करेंगे? इस सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि वह पहले से ही गलत को गलत और सही को सही कहते आए हैं। अब बीजेपी में शामिल होकर वह खिलाड़ियों के भले के लिए काम करना चाहते हैं।
बॉक्सर विजेंदर सिंह हरियाणा से ताल्लुक रखते हैं और जाट समुदाय का बड़ा चेहरा हैं। ऐसे में हरियाणा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लिए बीजेपी उनके जरिए जाट समाज को साध सकती है। विजेंदर सिंह हमेशा से राज्य और केंद्र सरकार के खिलाफ मुखरता से बोलते आए हैं। हरियाणा में राज्य सरकार बीजेपी की है और केंद्र में भी बीजेपी सरकार है. हालांकि, अब विजेंदर सिंह खुद बीजेपी में शामिल हो गए हैं।
गौरतलब है कि विजेंदर सिंह ने हाल ही में कांग्रेस नेता राहुल गांधी का पोस्ट शेयर किया था, जिसके जरिए उन्होंने बीजेपी पर निशाना साधा था। दरअसल, राहुल गांधी ने एक वीडियो के जरिए बीजेपी सरकार के सामने सवाल खड़ा किया था कि युवाओं को नौकरी क्यों नहीं मिल रही है? इस सवाल को समर्थन देते हुए विजेंदर सिंह ने भी यह पोस्ट शेयर किया था। अगले ही दिन विजेंद्र सिंह बीजेपी में शामिल हो गए हैं।