विकास कुमार
सनातन धर्म को लेकर तमिलनाडु के खेल मंत्री उदयनिधि स्टालिन के बयान से देश में नया विवाद खड़ा हो गया है। स्टालिन के बाद दो और नेताओं ने सनातन धर्म पर आपत्तिजनक बयान दिए हैं। डीएमके सांसद ए राजा ने सनातन की तुलना एचआईवी से की है,डीएमके नेताओं के विवादित बयान का ऑल इंडिया मजलिस इत्तिहादुल मुस्लमिन नेता आसिम वक़ार ने विरोध किया है। आसिम वकार ने कहा कि उनकी लड़ाई बीजेपी से है सनातन से या हिंदू धर्म से नहीं है। वकार ने कहा कि उदयनिधि स्टालिन गलत बयान देकर बीजेपी को ही फायदा पहुंचा रहे हैं। उन्होंने कहा कि स्टालिन को साउथ इंडिया की जमीन पर बीजेपी को पांव जमाने का मौका नहीं देना चाहिए। उदय निधि स्टालिन तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन के बेटे हैं,इसलिए आसिम वकार ने कहा कि ज़रूरी नहीं कि किसी मुख्यमंत्री का बेटा अक़्लमंद ही हो।
असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी ने उदयनिधि स्टालिन के बयान के राजनीतिक असर को पहले ही भांप लिया है,क्योंकि जब जब सनातन धर्म पर विवादित बयान दिया जाता है उससे बीजेपी को सीधा फायदा मिलता है। क्योंकि बीजेपी विपक्ष के तमाम दलों पर हिंदुत्व का विरोध और तुष्टीकरण की राजनीति करने का आरोप लगाती रही है। अगर उदयनिधि स्टालिन और ए राजा जैसे नेता हिंदू धर्म के विरोध में बयान देंगे तो बीजेपी के इस दावे पर मुहर लग जाएगी और 2024 का चुनाव धार्मिक ध्रुवीकरण के मुद्दे की ओर चला जाएगा। जबकि महंगाई,बेरोजगारी और भ्रष्टाचार जैसे मुद्दे पर बीजेपी को हराया जा सकता है। कांग्रेस ने हिमाचल प्रदेश और कर्नाटक में ये करिश्मा करके दिखाया है इसलिए विपक्ष को धार्मिक मुद्दों की बजाय आर्थिक मुद्दों पर चुनाव लड़ना चाहिए।