न्यूज़ डेस्क
डेरा सच्चा सौदा वाले गुरमीत राम रहीम को हरियाणा की खट्टर सरकार ने मेहरबानी करते हुए 30 दिन पेरोल मंजूरी फिर से दे दी है। राम रहीम उम्रकैद की सजा रोहतक की सुनारिया जेल में काट रहा है लेकिन उसे बार -बार पेरोल पर बहार निकलने का अवसर सरकार देती रहती है। अभी पिछले साल 2022 में उसे 40 दिनों के लिए पेरोल की मंजूरी मिली थी।
हरियाणा की खट्टर सरकार का कहना है कि वह हार्ड कोर क्रिमिनल नहीं है। राम रहीम के खिलाफ अभी पिछले अप्रैल महीने में पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट में दायर याचिका के जवाब में हरियाणा सरकार ने कहा था कि हत्या के दो अलग-अलग मामलों में उसकी सजा को सीरियल किलिंग नहीं कहा जा सकता है। गुरमीत हमलावर नहीं था और उसने दोनों मामलों में वास्तविक हत्याओं को अंजाम नहीं दिया था। कहा जाता है कि हरियाणा की खट्टर सरकार को बनवाने में राम रहीम की बड़ी भूमिका रही है। राम रहीम अपने आश्रम में आने वाले लाखों लोगों को बीजेपी के समर्थन में वोट देने का आदेश देता रहता है और उसके भक्त उसके हर आदेश का पालन करता है।
राम रहीम को 30 महीने में 7वीं बार परोल मिली है। हर बार की तरह इस बार भी उसे सिरसा डेरे में जाने की इजाजत नहीं है।रोहतक की सुनारिया जेल से परोल मिलते ही वो अपने बागपत स्थित डेरा सच्चा सौदा आश्रम जाएगा। डेरा प्रमुख दुष्कर्म व हत्या के मामले में उम्र कैद की सजा काट रहा है। डेरा सच्चा सौदा आश्रम पर पुलिस पहरा लगा दिया गया है। डेरा की और से भी सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गयी है। बिना जानकारी और सूचना के किसी भी अंदर जाने नहीं दिया जाएगा।
डेरा सच्चा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को दो शिष्यों से दुष्कर्म के आरोप में 20 साल कैद की सजा सुनाई गई थी। राम रहीम को अगस्त 2017 में पंचकूला में सीबीआई की एक विशेष अदालत ने दो महिला अनुयायियों के साथ दुष्कर्म के आरोप में दोषी ठहराया था। 8 अक्टूबर 2021 को कोर्ट ने पूर्व डेरा प्रबंधक रंजीत सिंह की हत्या के मामले में राम रहीम और चार अन्य को दोषी ठहराया था। रणजीत सिंह की 2002 में डेरा सच्चा सौदा के परिसर में हत्या कर दी गई थी।
बलात्कार और हत्या के दोषी गुरमीत राम रहीम पर हरियाणा सरकार मेहरबान ,फिर मिली 30 दिन की पेरोल !
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