Homeदेशमणिपुर हिंसा पर मोहन भागवत की टिप्पणी से सियासत गरमाई, विपक्ष ने...

मणिपुर हिंसा पर मोहन भागवत की टिप्पणी से सियासत गरमाई, विपक्ष ने PM मोदी पर साधा निशाना

Published on

न्यूज डेस्क
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के बयान पर मंगलवार को राजनीति गरमा गयी। कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी दलों के नेताओं ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को आरएसएस की सलाह पर ध्यान देना चाहिए। विपक्ष ने कहा कि मोदी को एक साल से अधिक समय से हिंसा झेल रहे मणिपुर का दौरा करना चाहिए। कांग्रेस महा​सचिव जयराम रमेश ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर कहा कि प्रधानमंत्री की अंतरात्मा या मणिपुर के लोंगी की बार बार की मांग को नहीं माना गया है,तो शायद भागवत पूर्व आरएसएस पदाधिकारी (नरेंद्र मोदी) को मणिपुर जाने के लिए राजी कर सकते हैं। कांग्रेस नेता भूपेश बघेल ने कहा कि एक साल बाद मोहन भागवत की मणिपुर पर टिप्पणी से पता चलता है कि भाजपा और आरएसएस के बीच मतभेद हैं,जो उजागर हुए थे। राज्यसभा सांसद ​कपिल सिब्बल ने कहा कि विपक्ष की सलाह सुनना पीएम के डीएनए में नहीं है,लेकिन उन्हें आरएसएस प्रमुख की बातों पर ध्यान देना चाहिए। राजद नेता तेजस्वी यादव ने कहा कि आरएसएस प्रमुख ने बहुत देर से अपनी चिंता व्यक्त की और दावा किया कि प्रधानमंत्री ने मणिपुर सहित हर संकट पर चुप्पी बनाए रखी है।

राकांपा (शरद पवार) नेता सुप्रिया सुले ने कहा कि मणिपुर की स्थिति पर संसद में बहुत चर्चा हुई। मणिपुर देश का एक अभिन्न अंग है। वहां के लोग महिलाएं बच्चे भारतीय हैं। मणिपुर में मुख्यमंत्री के काफिले पर भी हमला किया गया। इससे पता चलता है कि कहीं न कहीं कुछ गलत हो रहा है।

कांग्रेस नेता गौरव गोगोई ने एक्स पर कहा कि उन्हें उम्मीद नहीं ​है कि प्रधानमंत्री भागवत की बातों पर ध्यान देंगे,लेकिन लोगों ने अपनी और से बोलने के लिए इंडिया गठबंधन को चुना है। महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री और भाजपा नेता चंद्रकांत पाटिल ने भागवत को पितातुल्य बताया और कहा कि अगर कुछ गलत हो रहा है तो उन्हें बोलने का अधिकार है।

भागवत ने मणिपुर हिंसा पर जतायी थी चिंता

संघ प्रमुख मोहन भागवत के हाल में एक बयान को लेकन दोनों के बीच रिश्तों को लेकर कई तरह के अर्थ लगाये जा रहे हैं। भागवत ने दो दिन पहले मणिपुर की हिंसा पर चिंता जताते हुए कहा था कि वहां पर एक साल से अशांति है। राज्य में पिछले दस साल की शांति भंग हुई है। भागवत ने नेताओं को अहंकार न पालने और काम करने की नसीहत भी दी थी। उन्होंने परोक्ष रूप से विपक्ष के रवैये पर भी सवाल खड़े किये थे,लेकिन कुछ बयानो को भाजपा से जोड़कर देखा गया। हालांकि संघ का कहना है कि सामाजिक जीवन में काम रक रहे संघ की यह सामान्य प्रक्रिया है। सूत्रों के मुताबिक भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा की चुनाव के दौरान संघ को लेकर की गयी टिप्पणी से भी दोनों पक्षों के रिश्तों में कड़वाहट आई है। जिसका असर मतदान के आखिरी तीन चरणों में दिखाई दिया। अंदरुनी स्तर पर इस बात की काफी चर्चा है कि आखिर के तीन चरणों में संघ ने उतना मन लगाकर काम नहीं किया जितना वह पहले कर रहा था।

Latest articles

उम्र से पहले ही बूढ़ा कर देगा Smartphone,रिसर्च में सामने आई चौंका देने वाली जानकारी

आज के इस डिजिटल युग में स्मार्टफोन में हमारी निर्भरता बढ़ती जा रही है।...

पेट क्यों निकल रहा है? सिर्फ खाने-पीने से नहीं, इन 4 वजहों से भी बढ़ता है Belly Fat

आज कल की भागदौड़ भरी ज‍िंदगी में लोग अपनी सेहत का सही ढंग से...

कन्वर्टेड हिन्दू पठानों को अपना गुलाम और नौकर बता रहे तुर्क मुस्लिम? संभल की रिपोर्ट

संभल की डेमोग्राफी के बदलते स्वरूप और दंगों की साजिशों पर तैयार 450 पन्नों...

वैज्ञानिकों ने पहला सुअर-से-मानव फेफड़े प्रत्यारोपण किया

वैज्ञानिकों ने पहली बार आनुवंशिक रूप से निर्मित सुअर के फेफड़े को मनुष्य में...

More like this

उम्र से पहले ही बूढ़ा कर देगा Smartphone,रिसर्च में सामने आई चौंका देने वाली जानकारी

आज के इस डिजिटल युग में स्मार्टफोन में हमारी निर्भरता बढ़ती जा रही है।...

पेट क्यों निकल रहा है? सिर्फ खाने-पीने से नहीं, इन 4 वजहों से भी बढ़ता है Belly Fat

आज कल की भागदौड़ भरी ज‍िंदगी में लोग अपनी सेहत का सही ढंग से...

कन्वर्टेड हिन्दू पठानों को अपना गुलाम और नौकर बता रहे तुर्क मुस्लिम? संभल की रिपोर्ट

संभल की डेमोग्राफी के बदलते स्वरूप और दंगों की साजिशों पर तैयार 450 पन्नों...