न्यूज डेस्क
माफिया डॉन अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की प्रयागराज में मेडिकल के लिए ले जाते समय शनिवार को गोली मारकर हत्या कर दी गई है। इस घटना के सामने आते देशभर में हड़कंप मच गया है। अतीक और उसके भाई को हमलावरों ने बिल्कुल करीब से गोली मारी है। इस दौरान कई राउंड की ताबड़तोड़ फायरिंग की गई है। पुलिस ने मौके से 3 हमलावरों को गिरफ्तार कर लिया है। ये हमलावर नकली मीडियाकर्मी बनकर आए थे। प्रयागराज मेडिकल कॉलेज के पास यह घटना हुई है। दोनों को ही 10 से अधिक गोली मारी गई। इस मामले में पुलिस ने 3 लोगों को गिरफ्तार किया है। अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ का अंत फिल्मी अंदाज में होगा ये किसी ने सोचा भी नहीं होगा। सांसद, चार बार विधायक रहे अतीक अहमद पर सौ से अधिक मामले दर्ज हुए, लेकिन पहली बार उमेश पाल अपहरण कांड में उसे दोषी ठहराया गया।
उमेश पाल हत्याकांड के बाद अतीक अहमद के सबसे बुरे दिनों की शुरुआत हो गयी थी। अतीक ने आतंक के दम पर अपनी पहचान बनायी , फिर उसी पहचान के बलबूते राजनीति में प्रवेश किया। 28 साल की उम्र में विधायक बना तो ताकत दोगुनी हो गयी। हर हाई प्रोफाइल हत्याकांड में अतीक अहमद का नाम आया। एक के बाद एक सौ से ज्यादा मुकदमें दर्ज हुए,लेकिन कभी किसी केस में सजा नहीं हुई। 44 साल बाद 8 मार्च 2023 को अतीक अहमद को उमेश पाल अपहरण कांड में पहली बार सजा हुई। अतीक के साथ अशरफ नामजद आरोपी था।
अतीक ने जताई थी हत्या की आशंका
गुजरात के साबरमती जेल से प्रयागराज ले जाते समय अतीक अहमद का काफिला झांसी में भी रुका था। यहां उसने अपनी हत्या की आशंका जताई थी, जो शनिवार रात को सच साबित हुई। प्रयागराज में अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की ताबड़तोड़ गोलियां मारकर हत्या कर दी गयी। जबकि इससे एक दिन पहले झांसी में अतीक का बेटा असद और शूटर गुलाम यूपी एसटीएफ के साथ हुई मुठभेड़ में मारा गया था। साबरमती जेल से प्रयागराज ले जाते समय एक माह के भीतर अतीक अहमद तीन बार हमलों से गुजरा । 27 मार्च को सुबह उसे प्रयागराज लाया गया था और पुलिस लाइन में तकरीबन दो घंटे तक उसे रोका गया था। उसने अपनी हत्या की आशंका जताई थी। इसके अलावा उसके काफिले के पीछे आई अतीक की बहन ने भी भाई की सुरक्षा को खतरा बताया था। इसके बाद पिछले बुधबार को भी झांसी होकर गुजरा था, तब अतीक ने कहा था कि सरकार ने उसके परिवार को मिट्टी में मिला दिया है। अब तो उसे रगड़ा जा रहा है। इस दौरान उसने अपनी हत्या की आशंका भी जताई थी बावजूद उसकी सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम नहीं किये गये।
सीएम योगी ने दिए उच्चस्तरीय जांच के आदेश
इस घटना को उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बेहद गंभीरता से लेते हुए तुरंत घटना का संज्ञान लिया है। सीएम योगी ने घटना के बाद तुरंत उच्चस्तरीय बैठक बुलाई और पूरे मामले की उच्चस्तरीय जांच के आदेश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने तीन सदस्यीय जांच आयोग के गठन के निर्देश भी दिए हैं। इस मामले में तीन हमलावरों को गिरफ्तार किया गया है। वहीं पुलिस मामले की जांच में जुट गई है।
हमलावरों ने किया आत्मसमर्पण
अतीक और अशरफ पर गोली चलाने वाले आरोपियों ने सरेंडर कर दिया । पुलिस ने जैसे ही उन्हें पकड़ा तो पिस्तौल फेंककर तीन आरोपियों ने कहा कि सरेंडर, सरेंडर और इसके बाद नारे लगाए। गिरफ्तार किए गए तीन आरोपियों की पहचान लवलेश तिवारी, अरुण मौर्या और सनी के रूप में की गई है। बताया जा हरा है कि तीनों ने सरेंडर किया है और तीनों को अलग-अलग थानों में रखा गया है। अतीक और अशरफ हत्याकांड के बाद प्रयागराज में हाईअलर्ट घोषित कर दिया गया है। जिले में संवेदनशील और अति संवेदनशील इलाकों में पुलिस की गश्त बढ़ा दी गई है। हर चौराहे पर पुलिस फोर्स तैनात कर दी गई है।