न्यूज डेस्क
शेर पर सवा शेर की कहानी आपने सुनी ही होगी । गांव देहात में इस कहानी की खूब चर्चा होती है । आज उसी कहानी का इस्तेमाल आप नेता संजय सिंह ने किया है ।आबकारी घोटाले में ईडी ने चार्ज शीट में संजय सिंह का नाम जोड़ दिया है जबकि संजय सिंह का आबकारी मामले से कोई लेना देना नही । फिर किसी गवाह ने भी संजय सिंह का कोई नाम नहीं लिया है । जाहिर है संजय सिंह को अपने जाल में लपेटने के लिए ही ईडी ने संजय सिंह का नाम चार्ज शीट में दाखिल कर दिया है ।
इसकी जानकारी मिलते जी संजय सिंह नाराज हो गए ।उन्होंने तुरंत ईडी अधिकारियों को हो मानहानि का नोटिस जारी कर दिया । ये नोटिस ईडी के डायरेक्टर संजय कुमार मिश्रा और कथित आबकारी घोटाले मामले की जांच कर रहे जांच अधिकारी जोगेन्दर को भेजा गया है । संजय सिंह ने अधिकारियों से 48 घंटे के भीतर माफी मांगने, वरना कानूनी कार्रवाई के लिए तैयार रहने के लिए कहा है ।
आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह का दावा है कि ईडी ने चार्जशीट में मेरा नाम झूठा डाला है । किसी गवाह ने मेरा नाम नहीं लिया है । इसके बावजूद केस में मेरा नाम होना, इस बात के संकेत हैं कि प्रवर्तन निदेशालय ने मुझे बदनाम करने लिए एक षड्यंत्र के तहत मेरा नाम अपनी कंप्लेंट में डाला है । जबकि मेरे खिलाफ ना तो कोई गवाह है ना ही सबूत ।
दरअसल, आप नेता संजय सिंह ने गुरुवार को कहा था कि दिल्ली शराब घोटाला मामले के आरोप पत्र में ‘फर्जी’ तरीके से नाम शामिल करने को लेकर मैं ईडी के अधिकारियों के खिलाफ आपराधिक मानहानि का मुकदमा दायर करूंगा ।
इस मसले पर बीते शुक्रवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि ईडी आप नेताओं को फंसाने के लिए टॉर्चर के साथ हर हथकंडे अपनाने पर उतारू है ।आप नेताओं और उनसे जुड़े लोगों पर दबाव डालकर झूठे बयान लिए जा रहे हैं ।संजय सिंह के मामले में उन्होंने कहा कि ईडी ने जिस व्यक्ति के बयान के आधार पर संजय सिंह का नाम अपने चार्जशीट में लिया है, उसने अपने बयान में वैसा कुछ नहीं कहा, जैसा कि चार्जशीट में ईडी ने उल्लेख किया है. ईडी ने चार्जशीट में कुछ और ही उल्लेख किया है ।इतना ही नहीं, ईडी ने चार्जशीट में कहा कि मनीष सिसोदिया ने फोन तोड़ दिए, जबकि उनके फोन ईडी के कस्टडी में हैं ।