विकास कुमार
मीनाक्षी अम्मन मंदिर भारत का एक प्रसिद्ध मंदिर है। यह विशाल और भव्य मंदिर तमिलनाडु में स्थित है। यह प्राचीन शहर मदुरई में वैगई नदी के दक्षिणी तट पर स्थित है। यह सुंदर मंदिर भगवान शिव और उनकी पत्नी पार्वती को समर्पित है। इस मंदिर का निर्माण साल 16 सौ 23 से 16 सौ 55 के बीच हुआ था। अपनी वास्तुकला के लिए यह मंदिर दुनियाभर में मशहूर है। मीनाक्षी मां पार्वती और सुन्दरेश्वर भगवान शिव का रूप हैं। इस मंदिर में शिव और मां पार्वती की एक साथ पूजा की जाती है। पौराणिक मान्यता है कि भगवान शिव सुन्दरेश्वरर रूप में पांड्य राजा मलयध्वज की बेटी मीनाक्षी से विवाह रचाने मदुरई नगर आए थे। मीनाक्षी को देवी पार्वती का अवतार माना जाता है। इस मन्दिर को देवी पार्वती के सर्वाधिक पवित्र स्थानों में से एक माना जाता है।
विदेशी आक्रांताओं ने मंदिर को पहुंचाया भारी नुकसान
पौराणिक मान्यता है कि सुन्दरेश्वर रूप में जन्मे भगवान शिव ने मां पार्वती यानी मीनाक्षी से शादी के लिए मदुरई का दौरा किया था। पाँड्य राजा मलयध्वज की घोर तपस्या के कारण देवी पार्वती ने उनके घर में बेटी के रूप में अवतार लिया था। वयस्क होने पर मां मीनाक्षी ने मदुरई नगर का शासन संभाल लिया। पौराणिक मान्यता के मुताबिक मां मीनाक्षी से भगवान शिव ने विवाह किया। इसी घटना की स्मृति में यहां मीनाक्षी अम्मन मंदिर का निर्माण कराया गया। बताया जाता है कि मीनाक्षी मंदिर में विदेशी आक्रांताओं ने भारी नुकसान पहुंचाया था। हालांकि बाद में मंदिर का पुर्ननिर्माण करवा दिया गया। यह मंदिर द्रविड़ वास्तुकला का एक सुंदर उदाहरण है। मीनाक्षी मंदिर अपने गोपुरम के लिए प्रसिद्ध है। इस भव्य मंदिर में चौदह गोपुरम बनाए गए हैं।
मंदिर के भवन में हैं एक हजार स्तंभ
14 एकड़ में फैले इस भव्य और विशाल मंदिर में चार प्रवेश द्वार हैं। मंदिर के भवन में लगभग एक हजार स्तंभ बनाए गए हैं। मंदिर के प्रदेश द्वार,खंभों और छतों में सुंदर अंकन किया गया है। मंदिर में हर साल अप्रैल महीने में मीनाक्षी के दिव्य विवाह का त्योहार धूम-धाम से मनाया जाता है। चाहें तो आप भी इस खूबसूरत उत्सव का आनंद उठा सकते हैं।