न्यूज़ डेस्क
महाराष्ट्र के बदलापुर में किंडरगार्टन बच्चियों के साथ यौन उत्पीड़न की घटना के बाद से लोग सड़कों पर उतर गए हैं। यौन उत्पीड़न के खिलाफ प्रदर्शन करने वाले 300 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है और 40 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। बाकी आरोपियों की पुलिस तलाश रही है।
दरअसल घटना से आक्रोशित लोगों ने रेलवे ट्रैक जाम कर दिया था, साथ ही तोड़फोड़ भी की थी। बवाल बढ़ता देख इलाके में इंटरनेट सेवा को बंद करना पड़ा। पुलिस के मुताबिक, गिरफ्तार किए गए लोगों को आज कोर्ट में पेश किया जाएगा।
घटना के खिलाफ विपक्ष भी विरोध प्रदर्शन कर रहा है। एनसीपी सांसद सुप्रिया सुले ने पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ बदलापुर की घटना के विरोध में खिलाफ महाराष्ट्र सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। विपक्षी दलों ने आरोप लगाया है कि पीड़ित बच्चियों के माता-पिता को बदलापुर पुलिस स्टेशन में 11 घंटे तक इंतजार करना पड़ा, उसके बाद अधिकारियों ने उनकी शिकायत दर्ज की।
उधर, बवाल बढ़ता देख महाराष्ट्र सरकार ने मामले की जांच में कथित लापरवाही के लिए एक सीनियर पुलिस इंस्पेक्टर समेत तीन पुलिस अधिकारियों को निलंबित करने का आदेश दिया। मामले की जांच के लिए एक विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया है।
बता दें कि किंडरगार्टन की बच्चियों के साथ यौन शोषण किया गया, इस बात की जानकारी तब लगी जब 16 अगस्त को एक बच्ची ने अपने माता-पिता को इस घटना के बारे में जानकारी दी। पीड़ित बच्चियों के माता-पिता ने बताया कि पुलिस ने उनकी शिकायत 12 घंटे बाद दर्ज की।
खबरों के मुताबिक, पुलिस ने जांच में पाया कि घटना के समय स्कूल में लगा सीसीटीवी काम नहीं कर रहा था। पीड़ितों के परिजन स्कूल गए और बच्चियों से बयान लेने के लिए पुलिस के आने से पहले 3 घंटे तक इंतजार किया। घटना पर बवाल मचने के बाद स्कूल प्रबंधन ने प्रिंसिपल, एक क्लास टीचर और एक महिला अटेंडेंट को निलंबित कर दिया।
आरोपी सफाई कर्मचारी अक्षय शिंदे को 1 अगस्त को कॉन्ट्रैक्ट के आधार पर नियुक्त किया गया था, जिसे घटना के बाद 17 अगस्त को गिरफ्तार किया गया। आरोपी अक्षय शिंदे को कल्याण कोर्ट में पेश किया गया, इस दौरान मीडिया को कोर्ट परिसर में जाने की अनुमति नहीं दी गई।
घटना के सामने आने के बाद हजारों लोग बदलापुर रेलवे स्टेशन पर जमा हो गए और विरोध प्रदर्शन करने लगे। इस दौरान प्रदर्शन हिंसक हो गया और गुस्साए लोगों ने स्कूल पर पत्थरबाजी और तोड़फोड़ की। इस दौरान बदलापुर रेलवे स्टेशन के पास एक बस में भी तोड़फोड़ की गई। प्रदर्शन के 9 घंटे बाद पुलिस ने लाठीचार्ज किया और रेल पटरियों पर प्रदर्शन कर रहे लोगों को वहां से हटा दिया।